कामकाजी महिला कार्यवाही दिवस मनाई...एक ही रंग की दो तस्वीर देखने को मिली।

कामकाजी महिला कार्यवाही दिवस मनाई...एक ही रंग की दो तस्वीर देखने को मिली।
कामकाजी महिला कार्यवाही दिवस मनाई...एक ही रंग की दो तस्वीर देखने को मिली।

कामकाजी महिला कार्यवाही दिवस मनाई...एक ही रंग की दो तस्वीर देखने को मिली।

बालोद-जिला मुख्यालय में मंगलवार को एक ही रंग की दो तस्वीर देखने को मिली। अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस पर एक ओर प्रशासन ने कई कार्यक्रम आयोजित कर महिलाओं और बेटियों का सम्मान किया, वहीं दूसरी तरफ जिला मुख्यालय के नया बस स्टैंड स्थित टेक्सी स्टैंड बड़ी संख्या में आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका अपनी 12 सूत्रीय मांगों को लेकर धरना प्रदर्शन कर रहीं हैं। आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका यूनियन सीटू के तत्वाधान में जिले भर के आंगनबाड़ी कार्यकर्ता अपनी 13 लंबित मांगों के निराकरण करने की मांग को लेकर जिला मुख्यालय के नया बस स्टेंड में एक प्रदर्शन कर राज्य व केंद्र सरकार को जमकर कोसा। इस दौरान महिलाओं ने धरना स्थल से रैली निकालकर तहसील कार्यलय पहुचकर प्रधानमंत्री के नाम एसडीएम को ज्ञापन सौपा।

 कामकाजी महिला कार्यवाही दिवस मनाई

 आगनबाड़ी कार्यकर्ता एवं सहायिका यूनियन के जिलाध्यक्ष रुचि शालिनी दिवाकर ने कहा कि उत्पीडन खतरनाक स्तर पर पहुंच गया है। महिला आरक्षण बिल पास नहीं हुआ है। राजनीतिक निर्णय लेने में महिलाओं की हिस्सेदारी आजादी के 76 साल बाद भी बहुत ही कम है। महिलाओं की शादी की उम्र बढ़ाने और वैवाहिक बलात्कार आदि को अपराध से मुक्त करने के लिए आपराधिक कानूनों में बदलाव के प्रयासों से महिलाओं पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा। मातृत्व हितलाभ सहित सामाजिक क्षेत्र के खर्च में भारी कटौती करके देश दशकों के दौरान हासिल किए गए मानव विकास में बहुत मामूली सा सुधार को भी खो रहा है। यह ऊर्जा, परिवहन, बुनियादी ढांचे आदि के बड़े पैमाने पर निजीकरण देश को दशको पीछे से जाएगा। सरकार द्वारा पारित श्रम सहिता न केवल आठ घंटे के काम, न्यूनतम वेतन और सामाजिक सुरक्षा यूनियन की स्वतंत्रता और सामूहिक सौदेबाजी के बुनियादी अधिकारों को छीन रही है, बल्कि महिला मजदूरों से सम्बन्धित सभी सुरक्षात्मक कानूनों को भी छीन रही है। इस संदर्भ में हम भारत की कामकाजी महिलाएं, अखिल भारतीय कामकाजी महिला समन्वय समिति (सीटू) के बैनर तले मंगलवार को विभिन्न माँगो पर कामकाजी महिला कार्यवाही दिवस मनाई

 13 सूत्रीय मांगे

 जिलाध्यक्ष ने बताया कि बेरोजगारी दूर करने के लिए सत्काल उपाय, महिलाओं के लिए विशेष रोजगार योजना, मनरेगा के लिए बजट आवंटन में तत्काल वृद्धि, मनरेगा में 200 दिन का काम, मजदूरी दर 600 रूपये प्रति दिन पर सुनिश्चित करेने, शहरी क्षेत्रों में विस्तार, वेतन के सभी बकाया का भुगतान करने। बुनियादी सेवाओ मनरेगा के लिए बजट आवंटन में वृद्धि योजना कर्मियो- ऑगनवाडी आशा, मिड से मिल वर्कर्स और अन्य योजना कर्मियों को कर्मचारियों के रूप में नियमित करें 45 आईएलसी की सिफारिशों के अनुसार तत्काल न्यूनतम वेतन और सामाजिक सुरक्षा सुनिश्चित करने। मूल्य वृद्धि पर रोक लगाऐं, रसोई गैस और अन्य पेट्रोलियम उत्पादों की कीमतों में वृद्धि को वापस ले, सभी को समान आवश्यक वस्तुओं सहित मुफ्त राशन सुनिश्चित करने, और सभी गैर-आयकरदाता परिवारों को प्रति माह 7500 रुपये की आय सहायता। महिलाओं के काम को मजदूरों और किसानों के रूप में मान्यता, महिलाओं के अवैतनिक और कम वेतन वाले कार्यों को सकल घरेलू उत्पाद में शामिल करें महिलाओं के अवैतनिक कार्य को कम करने के लिए विशिष्ट उपाय जैसे प्रत्येक घर में पर्याप्त पानी का प्रावधान, सब्सिडी वाली रसोई गैस, बच्चों की देखभाल (केच) और बुजुर्गों की देखभाल आदि की व्यवस्था करें।सभी क्षेत्रों में महिलाओं के लिए समान काम के लिए समान वेतन सुनिश्चित करना, सभी कामकाजी महिलाओं को मातृत्व अवकाश और हितलाम सुनिश्चित करना ।महिलाओं के भूमि अधिकारों को सुनिश्चित करने के लिए वन अधिकार अधिनियम सहित संयुक्त पट्टे के लिए सभी कानूनों में संशोधन को लागू करने के लिए कानूनी उपाय, विधवाओं परित्यक्त और तलाकशुदा महिलाओं सहित एकल महिला मुरिया वाले परिवारों को विशेष प्राथमिकता, महिला किसानो को किसानों के लिए तय सभी सरकारी योजनाओं में शामिल किया जाना चाहिए।सभी कार्यस्थलो पर पीओएसएच अधिनियम का सख्ती से क्रियान्वयन।महिलाओं के प्रति हिसा को रोकने के लिए प्रभावी उपाय करना, न्यायमूर्ति वर्मा कमेटी की सिफारिशों को लागू करे

 सभी विद्यायी निकायों में महिलाओं के लिए जल्द से जल्द 33 प्रतिशत आरक्षण प्रदान करने के लिए कानूनअधिनियमित करें। श्रम सहिताएं वापस लेने सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों और सेवाओं का निजीकरण बंद करने व एनएमपी समाप्त करने एवं सभी के लिए गुणवत्तापूर्ण सार्वजनिक स्वास्थ्य देखभाल सुनिश्चित करने शामिल है।धरना प्रदर्शन में प्रमुख रूप से राज्य महासचिव सगीता महार, जिलाध्यक्ष रुचि सलिनी दिवाकर,रंभा पवार, बिरम साहू,उतरा देवदास,धनेश्वरी दुबे,अबुदी पटेल,छाया, खेमिन साहू,कुलेश्वरी मानिकपुरी सहित बड़ी सख्या में आगनबाड़ी के कार्यकर्ता एव सहायिका शामिल हुए।