बालोद :- मंगलवार को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर जिला न्यायालय परिसर बालोद में सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण बालोद सुमन द्वारा अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का आयोजन आयोजित किया गया।

बालोद :- मंगलवार को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर जिला न्यायालय परिसर बालोद में सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण बालोद सुमन द्वारा अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का आयोजन आयोजित किया गया।
बालोद :- मंगलवार को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर जिला न्यायालय परिसर बालोद में सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण बालोद सुमन द्वारा अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का आयोजन आयोजित किया गया।
बालोद :- मंगलवार को अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर जिला न्यायालय परिसर बालोद में सचिव जिला विधिक सेवा प्राधिकरण बालोद सुमन द्वारा अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस का आयोजन आयोजित किया गया।

  उक्त अवसर पर कुटुंब न्यायालय न्यायाधीश बालोद गिरिजा देवी मरावी, मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट बालोद श्याम वती मरावी, आस्था यादव न्यायिक मजिस्ट्रेट प्रथम श्रेणी बालोद, मीना अवस्थी, अनीता साहू , मनोरमा देशमुख अधिवक्ता अंगेश्वरी गोस्वामी आदि ने न्यायालयीन महिला कर्मचारी व अधिवक्ता उपस्थित रहे ।इस अवसर पर कुटुंब न्यायालय न्यायाधीश गिरिजा देवी ने अपने उद्बोधन में कहा कि महिला दिवस तभी सार्थक होगा कि जब विश्व भर में महिलाओं को मानसिक व शारीरिक रूप से संपूर्ण आजादी मिलेगी, जहां उन्हें कोई प्रताड़ित नहीं करेगा, जहां उन्हें दहेज के लालच में जिंदा नहीं जलाया जाएगा, जहां कन्या भ्रूण हत्या नहीं की जाएगी, जहां दुष्कर्म नहीं किया जाएगा, जहां उसे बेचा नहीं जाएगा, समाज के हर महत्वपूर्ण फैसलों में उनके नजरिए को महत्वपूर्ण समझा जाएगा। उन्होंने बताया कि उन्हें भी पुरुष के समान एक इंसान समझा जाएगा वह सिर उठाकर अपने महिला होने पर गर्व करें ना कि पश्चाताप कि काश में एक लड़का होती इसके पश्चात महिलाओं को उनके अधिकारों के संबंध में जानकारी दी गई। मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट बालोद श्याम वती मरावी ने बताया कि भारत में महिलाओं को वोट देने के अधिकार और मौलिक अधिकार प्राप्त हैं। धीरे-धीरे परिस्थितियां बदल रही है। आज महिला आर्मी, एयर फोर्स, पुलिस ,आईटी ,इंजीनियर क्षेत्रों में पुरुषों से कंधे से कंधा मिलाकर चल रहे हैं। माता पिता और बेटी में कोई फर्क नहीं समझना चाहिए की जानकारी दी गई । आस्था यादव द्वारा अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के संबंध में बताया कि संपूर्ण विश्व की महिलाएं जात पात , भाषा, राजनीतिक एकजुट होकर इस दिन को मनाती है साथ ही पुरुष वर्ग भी इस दिन को महिलाओं के सम्मान में समर्पित करता है ।

रिपोर्ट :- अरुण उपाध्याय