एक युवा को मोबाइल में गेम खेलना पड़ा भारी कान ईयर फोन लगा ट्रेन की पटरी पर बैठक खेल रहा था ऑनलाइन गेम आखिर अनदेखी अनसुनी ट्रेन की आवाज से हुई मौत पढ़े पूरी घटना खबर विस्तार से

एक युवा को मोबाइल में गेम खेलना पड़ा भारी कान ईयर फोन लगा ट्रेन की पटरी पर बैठक खेल रहा था ऑनलाइन गेम आखिर अनदेखी अनसुनी ट्रेन की आवाज से हुई मौत पढ़े पूरी घटना खबर विस्तार से
एक युवा को मोबाइल में गेम खेलना पड़ा भारी कान ईयर फोन लगा ट्रेन की पटरी पर बैठक खेल रहा था ऑनलाइन गेम आखिर अनदेखी अनसुनी ट्रेन की आवाज से हुई मौत पढ़े पूरी घटना खबर विस्तार से

एक युवा को मोबाइल में गेम खेलना पड़ा भारी कान ईयर फोन लगा ट्रेन की पटरी पर बैठक खेल रहा था ऑनलाइन गेम आखिर अनदेखी अनसुनी ट्रेन की आवाज से हुई मौत पढ़े पूरी घटना खबर विस्तार से

बालोद-बालोद जिले के गुंडरदेही थाना क्षेत्र के ग्राम रंगकठेरा में फ्री फायर गेम के चक्कर में सोमवार को एक युवक की जान चली गई। युवक कान में ईयर फोन लगाकर ट्रेन की पटरी पर बैठकर ऑनलाइन गेम खेल रहा था। इसी दौरान अंतागढ़ से रायपुर जाने वाली ट्रेन वहां से होकर गुजरी। लोको पायलट ने काफी हॉर्न बजाया, लेकिन कान में ईयर फोन होने की वजह से युवक कुछ सुन नहीं सका और इतना बड़ा हादसा हो गया।सूचना मिलने पर पहुंची गुंडरदेही पुलिस ने बताया कि 12वीं का छात्र योगेंद्र जोशी (18 वर्ष) शौच के लिए गया था। इसी दौरान वो पटरी पर बैठकर फ्री फायर गेम खेलने लगा और ट्रेन की चपेट में आकर उसकी मौत हो गई। छात्र गुंडरदेही थाना क्षेत्र के रंगकठेरा गांव का रहने वाला था। बालोद एसपी डॉ जितेंद्र कुमार यादव ने कहा कि शव का पोस्टमॉर्टम कराकर परिजनों को सौंप दिया गया है।एसपी डॉ जितेंद्र कुमार यादव ने कहा कि ऑनलाइन गेम की लत कई बच्चों में आजकल देखी जा रही है, जो बेहद नुकसानदेह है। उन्होंने कहा कि टास्क पूरा करने में कई बच्चे इतने खो जाते हैं कि वे हादसों का शिकार हो जाते हैं। साथ ही ऑनलाइन गेम की लत के कारण बच्चे अपने आसपास की दुनिया से कटने लगते हैं। वहीं ज्यादा समय मोबाइल पर देने के कारण बच्चे कई स्वास्थ्यगत समस्याओं के भी शिकार हो जाते हैं। नर्वस सिस्टम पर भी इसका बुरा असर पड़ता है। फिजिकल एक्टीविटी घटने से वे आलसी भी होते हैं। मोबाइल स्क्रीन देखने के कारण आंखें भी कमजोर होती हैं।

रिपोर्ट :- अरूण उपाध्याय बालोद