सेवा सहकारी धान खरीदी केन्द्र पं/54 गब्दी में सैकड़ों किसानों द्वारा मनमानी के विरोध में हंगामा करने विवश....

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सेवा सहकारी धान खरीदी केन्द्र पं/54 गब्दी में सैकड़ों किसानों द्वारा मनमानी के विरोध में हंगामा करने विवश....
सेवा सहकारी धान खरीदी केन्द्र पं/54 गब्दी में सैकड़ों किसानों द्वारा मनमानी के विरोध में हंगामा करने विवश....
सेवा सहकारी धान खरीदी केन्द्र पं/54 गब्दी में सैकड़ों किसानों द्वारा मनमानी के विरोध में हंगामा करने विवश....

सेवा सहकारी धान खरीदी केन्द्र पं/54 गब्दी में सैकड़ों किसानों द्वारा मनमानी के विरोध में हंगामा करने विवश....

गुंडरदेही//अर्जुंदा//नगर पंचायत अर्जुंदा के समीपस्थ ग्राम पंचायत गब्दी पं/54 में अचानक सैकड़ों किसानों द्वारा धान केन्द्र में आकर कहा हम गरीब किसानों द्वारा धान खरीदी केन्द्र में धान लेकर आते हैं जिसमें अधिकृत नोडल अधिकारी नियुक्त कर्मचारी अधिकारी द्वारा धान खरीदी से पहले नमी जांच किया जाना होता है। जिसमें निर्धारित नमी जांच मापदंड के हिसाब से खरा होता है इस किसान के धान को वजन कर लिया जाता है।

आपको बता दें किसानों द्वारा कहना है कि नमी जांच में खरा नहीं उतरता तो अधीनस्थ कर्मचारी व उच्च अधिकारी हमारा धान वजन करते समय ज्यादा धान लेने की बात कही लेकिन फिर से धान वापस ले जाने पर हमें मजदूर एवम गाड़ी भाड़ा का नुकसान होता है।

*मौसम का मिजाज देखते हुए किसानों में धान जल्दी बेचने विवश*

धान खरीदी केन्द्र से रिजेक्ट हुए धान वापस घर ले जाया जाता है तो मजदूरों के साथ गाड़ी भाड़ा दुबारा भी देना पड़ता है साथ ही छोटे छोटे किसानों के पास धान सुखाने के लिए पर्याप्त जगह का आभाव होने पर क्या करें कहां जाएं अपनी दुखड़ा बयां करने। ज्ञात हो कि किसानों का धान प्रति बोरी 41, 200 या 41,500किलोग्राम लिया जाता है फिर भी किसान चुपचाप बिना बहस किए देते चुपचाप हामी भरते आएं हैं।

कोई किसान के मन में ये सब खटकता है तब विवशता से अपना मुंह खोलकर पूछ लिया जाता है तब क्या जवाब होता है। कर्मचारी,अधिकारी द्वारा 40/किलोग्राम धान का,600/700 ग्राम बोरा का वजन और बाकी नमी के कारण लिया जाना कहा जाता है।

ऐसा ही मामला गब्दी धान खरीदी केन्द्र का सामने आया है....

सैकड़ों किसानों द्वारा असंतुष्ट होकर विवशता पूर्वक अधिकारी व कर्मचारी से वार्तालाप करने के लिए आए हुए थे। लेकिन अधिकारी कर्मचारी से संतुष्टि पूर्वक जवाब नहीं मिलने पर यह हंगामा हुआ।

*समिति प्रबंधक व समिति अध्यक्ष पर लगाया गंभीर आरोप*

किसानों का कहना है कि जब हम धान बेचने आते हैं तब समिति अध्यक्ष का दर्शन दुर्लभ होता है अगर अध्यक्ष सही समय पर मौजूद रहते तो ये भयावह रूप नहीं लेता किसानों का कहना है हमें तो बस मेहनत का फल मिल जाए हमें किसी से कोई शिकवा शिकायत नहीं है।

*समझाइस देने आए अधिकारियों द्वारा किसानों के पांच रिजेक्ट हुए धान को अलग अलग तीन नमी यंत्र से किसानों के समक्ष देखा गया*

अधिकारियों द्वारा सहज ही किसानों के मेहनत को समझा और उनके साथ किसी भी प्रकार की विपत्ति आती है तो मुझे तुरंत बताएं अधिकारियों की टीम में से एक अधिकारी ने कहा मैं भी किसान का बेटा हूं किसानों का दर्द समझ सकता हूं। किसानों के समझाइस में इन सभी अधिकारियों तहसीलदार प्रीतम साहू सहकारिता विभाग से डोमेंद्र सिंह, मंडी निरीक्षक सी एल तांडव,खाद्य विभाग से सुधीर खेर,एकांत वर्मा सहायक खाद्य अधिकारी संतोष कुमार ब्रांच मैनेजर डी के बंजारे थाना अर्जुंदा निरीक्षक मनीष सिंदे का भरपूर योगदान रहा।

*किसानों ने सौंपा तहसीलदार व कलेक्टर को ज्ञापन*

किसानों द्वारा वर्तमान में जो धान खरीदी हो रहा है जिसमें नमी का 17 प्रतिशत मानक रखा गया है। शासन प्रशासन से मांग किया गया है कि मौसम व किसानों की समस्या को देखते हुए 19 प्रतिशत किया जाए।

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